काशी ही ब्रह्म है...
काशी ब्रह्मोति विख्याता तद्विवर्तो जगद्भ्रमः।
अविवर्तं तदेवाहुः काशीति ब्रह्मवादिनः।।
(काशी केदार महात्म्य)
काशी ही ब्रह्म है, और उसका विवर्त्त भ्रमरूप जगत्। इसीलिये ब्रह्मवादी लोग काशी को अविवर्त्त कहते हैं।
श्रुतिस्मृतिपुराणेषु सर्वशास्त्रेषु पार्वति।
काशी ब्रह्मोति विख्याता तद् ब्रह्म प्राप्यतेऽत्र हि।।
हे पार्वति! श्रुति, स्मृति, पुराणों में तथा सब शास्त्रों में काशी ब्रह्मरूप से विख्यात है। अतएव काशी में ब्रह्म की प्राप्ति होती है।
काशी ब्रह्मोति विख्याता तद्विवर्तो जगद्भ्रमः।
अविवर्तं तदेवाहुः काशीति ब्रह्मवादिनः।।
(काशी केदार महात्म्य)
काशी ही ब्रह्म है, और उसका विवर्त्त भ्रमरूप जगत्। इसीलिये ब्रह्मवादी लोग काशी को अविवर्त्त कहते हैं।
श्रुतिस्मृतिपुराणेषु सर्वशास्त्रेषु पार्वति।
काशी ब्रह्मोति विख्याता तद् ब्रह्म प्राप्यतेऽत्र हि।।
हे पार्वति! श्रुति, स्मृति, पुराणों में तथा सब शास्त्रों में काशी ब्रह्मरूप से विख्यात है। अतएव काशी में ब्रह्म की प्राप्ति होती है।
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